अडाणी डिफेंस एंटी-सबमरीन वॉरफेयर सिस्टम बनाएगी:अमेरिकी कंपनी स्पार्टन के साथ डील हुई; भारतीय नौसेना की ताकत बढ़ेगी

गौतम अडाणी की कंपनी अडाणी डिफेंस एंड एयरोस्पेस भारतीय नौसेना के लिए एंटी-सबमरीन वॉरफेयर (ASW) सिस्टम बनाएगी। इसके लिए अमेरिका की कंपनी स्पार्टन के साथ डील की गई है। अब तक भारत इस सिस्टम के लिए विदेशी आयात पर निर्भर था, लेकिन अडाणी-स्पार्टन की साझेदारी से यह तकनीक देश में ही विकसित होगी। इससे पनडुब्बियों का पता लगाने, उन्हें ट्रैक करने और नष्ट करने की क्षमता बढ़ेगी। समुद्र के अंदर पनडुब्बियों की गतिविधियों को ट्रेक करता है ASW एंटी-सबमरीन वॉरफेयर (ASW) समुद्र के अंदर पनडुब्बियों की गतिविधियों को ट्रेक करता है। इसमें सोनार बुआ डिवाइस होता है जो समुद्र के अंदर सोनार तरंगों का इस्तेमाल करता है। यह नौसेना की अंडरसी डोमेन अवेयरनेस (UDA) रणनीति का अहम हिस्सा है। भारत में विकसित किए जाएंगे ASW सिस्टम अदानी एंटरप्राइजेज के वाइस प्रेसिडेंट जीत अदानी ने कहा भारतीय नौसेना को एकीकृत, मिशन-रेडी ISR और पनडुब्बी रोधी युद्ध क्षमताओं की जरूरत है। इसमें सोनार बुआ जैसे महत्वपूर्ण सिस्टम शामिल हैं। ये सिस्टम स्वदेशी रूप से विकसित किए जाएंगे। यह पहल ‘भारत में डिजाइन, विकसित और निर्मित’ तकनीक को बढ़ावा देगी।” अडाणी डिफेंस के CEO आशीष राजवंशी ने बताया, “दशकों से भारत ऐसी अहम तकनीकों के लिए आयात पर निर्भर था। यह साझेदारी वैश्विक स्तर की सोनार बुआ टेक्नोलॉजी को भारतीय डिफेंस से जोड़ेगी। UAV ड्रोन भी बना रही अडाणी डिफेंस अडाणी डिफेंस एंड एयरोस्पेस उत्तर प्रदेश की फैक्ट्रियों में UAV ड्रोन भी तैयार कर रही है। AI तकनीक की मदद से काम करने वाले ड्रोन भारतीय सेना के बेड़े में शामिल हैं। दुश्मन की टोह लेने के साथ ये ड्रोन उनके ठिकानों को ध्वस्त करने में सक्षम हैं। कानपुर डिफेंस कॉरिडोर में 500 एकड़ में फैले इस मैन्यूफैक्चरिंग प्लांट के लिए अडाणी ग्रुप करीब 3 हजार करोड़ रुपए खर्च कर रही है। यहां काउंटर ड्रोन, खुफिया-रेकी टेक्नोलॉजी और साइबर रक्षा के क्षेत्र में हथियार बनाए जा रहे हैं। कंपनी आर्म्ड फोर्सेस, पैरामिलीट्री फोर्सेस और पुलिस के लिए एम्यूनिशन यानी गोला-बारूद बनाएगी।