ट्रम्प प्रशासन बोला- चीन के साथ ट्रेड डील फाइनल हुई:जेनेवा में दो दिन बातचीत के बाद समझौता; आज जॉइंट स्टेटमेंट जारी करेंगे दोनों देश

अमेरिका और चीन के बीच स्विट्जरलैंड के जेनेवा में ट्रेड डील हो गया है। जिनेवा में दो दिनों की बातचीत के बाद दोनों देशों के बीच ये समझौता हुआ है। चीन के साथ चल रहे ट्रेड वॉर के बीच इसे राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प की बड़ी जीत माना जा रहा है। व्हाइट हाउस ने 11 मई को एक बयान में चीन व्यापार समझौते की घोषणा की। हालांकि व्हाइट हाउस ने इसकी डिटेल नहीं दी है। चीनी उप-प्रधानमंत्री हे लीफेंग ने कहा कि जिनेवा में सोमवार को एक जॉइंट स्टेटमेंट जारी किया जाएगा। वहीं, उप वाणिज्य मंत्री ली चेंगगैंग ने कहा कि इसमें दुनिया के लिए अच्छी खबर होगी। अमेरिकी अधिकारियों ने इसे व्यापार घाटा कम करने के लिए एक डील बताया, जबकि चीनी अधिकारियों ने कहा कि दोनों पक्षों के बीच अहम सहमति बनी है और नए सिरे से आर्थिक बातचीत शुरू करने पर सहमति हुई है। पिछले महीने ट्रम्प ने चीनी सामानों पर 145% टैरिफ लगा दिए थे, जिसके बदले चीन ने भी अमेरिकी सामान पर 125% तक का टैरिफ लगा दिया था। जिससे दुनिया की दो सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं के बीच सालाना 600 अरब डॉलर का व्यापार लगभग रुक गया था। अमेरिका ने कहा- चीन से मतभेद उतने बड़े नहीं थे, जितना सोचा था अमेरिकी व्यापार प्रतिनिधि जैमीसन ग्रीर ने पत्रकारों को बताया, ‘दोनों पक्ष बहुत जल्दी एक समझौते पर पहुंच पाए, इससे पता चलता है कि शायद मतभेद उतने बड़े नहीं थे जितना पहले सोचा जा रहा था। हालांकि, इन दो दिनों की बातचीत से पहले काफी तैयारी की गई थी।’ हालांकि अमेरिका और चीन दोनों ने 145% अमेरिकी टैरिफ और 125% चीनी टैरिफ को कम करने को लेकर किसी समझौते का जिक्र नहीं किया। ट्रम्प ने चीन पर लगाए टैरिफ कम करने का संकेत दिया था एक हफ्ते पहले ट्रम्प ने इशारा दिया था कि वे चीन पर लगाए गए टैरिफ को कम कर सकते हैं। उन्होंने ये माना कि मौजूदा टैरिफ दरें इतनी ज्यादा हैं कि दुनिया की दो सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं ने एक-दूसरे के साथ व्यापार करना ही बंद कर दिया है। ट्रम्प ने NBC के एक शो में कहा था कि किसी भी समय मैं चीन पर टैक्स घटा दूंगा, क्योंकि अगर ऐसा नहीं किया गया तो उनके साथ व्यापार करना मुमकिन नहीं होगा और वे व्यापार करना चाहते हैं। ट्रम्प ने इशारा किया कि चीन की इकोनॉमी इस वक्त मुश्किल में है। वहां फैक्ट्रियों में कामकाज 2023 के बाद से सबसे बुरी हालत में है। एक्सपोर्ट के ऑर्डर भी काफी गिर गए हैं। ट्रम्प के दोबारा राष्ट्रपति बनने के बाद चीन के साथ पहली बैठक यह बैठक अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प के कार्यभार संभालने के बाद सीनियर अमेरिकी और चीनी आर्थिक अधिकारियों के बीच पहली आमने-सामने बातचीत थी। ट्रम्प ने पद संभालते ही पूरी दुनिया में टैरिफ वॉर शुरू कर दी थी। उन्होंने अमेरिका में फेंटानिल संकट को नेशनल इमरजेंसी घोषित किया और फरवरी में चीनी वस्तुओं पर 20% टैरिफ लगा दिया। इसके बाद अप्रैल में ट्रम्प ने चीनी इम्पोर्ट पर 34% रेसिप्रोकल टैरिफ लगाया। इसके बाद की कई बार और टैरिफ लगाने से टैरिफ की दरें ट्रिपल डिजिट तक पहुंच गईं, जिससे करीब 600 अरब डॉलर का द्विपक्षीय व्यापार लगभग ठप हो गया। ट्रम्प ने शुक्रवार को कहा कि चीनी सामान पर 80% टैरिफ सही रहेगा। ये पहली बार था जब ट्रम्प ने किसी संभावित कटौती का संकेत दिया था।