केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने पितृसत्ता को लेकर अपनी राय दी है। उन्होंने कहा कि अगर पितृसत्ता भारत में महिलाओं को अपनी इच्छाओं को पूरा करने से रोकती, तो इंदिरा गांधी कैसे प्रधानमंत्री बन पाईं? बेंगलुरु के CMS बिजनेस स्कूल में स्टूडेंट्स से बातचीत के दौरान उन्होंने ये बात कही। महिला सशक्तीकरण को लेकर एक सवाल का जवाब देते हुए सीतारमण ने कहा कि पितृसत्ता का विचार लेफ्टिस्ट पार्टियों ने बनाया है। सीमारमण ने महिलाओं को सलाह दी कि वे आकर्षक जटिल शब्दों के जाल में न उलझें। अगर आप अपने लिए खड़े होते हैं और तर्कसंगत तरीके से बात रखते हैं, तो पितृसत्ता आपको अपने सपने पूरे करने से नहीं रोक सकती। हालांकि उन्होंने यह माना कि महिलाओं के लिए पर्याप्त सुविधाएं मौजूद नहीं हैं और इसमें बदलाव की जरूरत है। निर्मला बोलीं- मोदी सरकार ने इनोवेटर्स के लिए बेहतर माहौल बनाया
इस कार्यक्रम में निर्मला ने केंद्र सरकार की तरफ से इनोवेशन को बढ़ावा देने के लिए उठाए गए कदमों और युवाओं के लिए मौजूद सरकारी योजनाओं के बारे में बातचीत की। निर्मला ने इनोवेशन के मौकों को लेकर कहा कि मोदी सरकार ऐसा माहौल बना रही है जो इनोवेटर्स के लिए अच्छा है। हमारी सरकार सिर्फ नीतियां बनाकर इनोवेशन को सपोर्ट नहीं करती है। सरकार यह भी सुनिश्चित कर रही है कि ऐसे इनोवेशन को बाजार भी मिले। सीतारमण बोलीं- सरकार ने MSME के लिए सपोर्ट मैकेनिज्म तैयार किया
वित्त मंत्री ने कहा कि केंद्र सरकार ने MSME (सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों) के लिए सपोर्ट मैकेनिज्म तैयार किया है। इसके तहत MSME को सरकारी खरीद में प्राथमिकता दी जाती है। उन्होंने बताया कि सभी सरकारी खरीद का 40% हिस्सा MSME से आता है। इसी कारण भारत में आज 2 लाख से ज्यादा स्टार्टअप हैं और 130 से ज्यादा यूनिकॉर्न बन चुके हैं। इस क्षेत्र में अवसर बहुत हैं, जिनका पूरी तरह लाभ नहीं उठाया गया है। ——————————————————- सीतारमण के बयानों से जुड़ी ये खबरें भी पढ़ें… CA की मौत पर सीतारमण बोलीं- आत्मशक्ति की कमी थी:वह दबाव नहीं झेल पाई, शिवसेना सांसद बोलीं- आपने पीड़ित का अपमान किया पुणे में अर्नस्ट एंड यंग इंडिया कंपनी की 26 साल की CA एना सेबेस्चियन की मौत पर केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा था कि एक महिला CA काम के दबाव को सहन नहीं कर पाई। दबाव झेलने की ताकत ईश्वर से आती है, इसलिए ईश्वर की शरण में जाएं। पूरी खबर यहां पढ़ें… निर्मला सीतारमण बोलीं- टैक्स पर सवाल पूछना पसंद नहीं:चाहती हूं जीरो कर दूं, लेकिन कई चुनौतियां हैं और इसके लिए फंड की जरूरत केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने लोग सवाल पूछते हैं कि इतने सारे टैक्स क्यों हैं, ये बात मुझे बिलकुल पसंद नहीं है। मैं चाहती हूं कि टैक्स को जीरो पर लेकर आऊं, लेकिन देश के सामने बहुत सारी चुनौतियां हैं। उसके लिए फंड की जरूरत है। हमारे देश और अंतरराष्ट्रीय लेवल पर बहुत सारे कमिटमेंट हैं। हम इस बात का इंतजार नहीं कर सकते कि दूसरे हमें पैसे दें, इसलिए हम खुद पैसा खर्च कर रहे हैं। पूरी खबर यहां पढ़ें…
इस कार्यक्रम में निर्मला ने केंद्र सरकार की तरफ से इनोवेशन को बढ़ावा देने के लिए उठाए गए कदमों और युवाओं के लिए मौजूद सरकारी योजनाओं के बारे में बातचीत की। निर्मला ने इनोवेशन के मौकों को लेकर कहा कि मोदी सरकार ऐसा माहौल बना रही है जो इनोवेटर्स के लिए अच्छा है। हमारी सरकार सिर्फ नीतियां बनाकर इनोवेशन को सपोर्ट नहीं करती है। सरकार यह भी सुनिश्चित कर रही है कि ऐसे इनोवेशन को बाजार भी मिले। सीतारमण बोलीं- सरकार ने MSME के लिए सपोर्ट मैकेनिज्म तैयार किया
वित्त मंत्री ने कहा कि केंद्र सरकार ने MSME (सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों) के लिए सपोर्ट मैकेनिज्म तैयार किया है। इसके तहत MSME को सरकारी खरीद में प्राथमिकता दी जाती है। उन्होंने बताया कि सभी सरकारी खरीद का 40% हिस्सा MSME से आता है। इसी कारण भारत में आज 2 लाख से ज्यादा स्टार्टअप हैं और 130 से ज्यादा यूनिकॉर्न बन चुके हैं। इस क्षेत्र में अवसर बहुत हैं, जिनका पूरी तरह लाभ नहीं उठाया गया है। ——————————————————- सीतारमण के बयानों से जुड़ी ये खबरें भी पढ़ें… CA की मौत पर सीतारमण बोलीं- आत्मशक्ति की कमी थी:वह दबाव नहीं झेल पाई, शिवसेना सांसद बोलीं- आपने पीड़ित का अपमान किया पुणे में अर्नस्ट एंड यंग इंडिया कंपनी की 26 साल की CA एना सेबेस्चियन की मौत पर केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा था कि एक महिला CA काम के दबाव को सहन नहीं कर पाई। दबाव झेलने की ताकत ईश्वर से आती है, इसलिए ईश्वर की शरण में जाएं। पूरी खबर यहां पढ़ें… निर्मला सीतारमण बोलीं- टैक्स पर सवाल पूछना पसंद नहीं:चाहती हूं जीरो कर दूं, लेकिन कई चुनौतियां हैं और इसके लिए फंड की जरूरत केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने लोग सवाल पूछते हैं कि इतने सारे टैक्स क्यों हैं, ये बात मुझे बिलकुल पसंद नहीं है। मैं चाहती हूं कि टैक्स को जीरो पर लेकर आऊं, लेकिन देश के सामने बहुत सारी चुनौतियां हैं। उसके लिए फंड की जरूरत है। हमारे देश और अंतरराष्ट्रीय लेवल पर बहुत सारे कमिटमेंट हैं। हम इस बात का इंतजार नहीं कर सकते कि दूसरे हमें पैसे दें, इसलिए हम खुद पैसा खर्च कर रहे हैं। पूरी खबर यहां पढ़ें…