बिहार के 13 साल के वैभव IPL खेलेंगे:5.45 करोड़ खेलते हैं क्रिकेट, नेशनल टीमों में सिर्फ 22; नेशनल क्रिकेटर बनने के 6 स्टेप

बिहार के समस्तीपुर के वैभव सूर्यवंशी को आईपीएल में राजस्थान ‎रॉयल्स की टीम ने 1.10 करोड़ रुपए में खरीदा है। रणजी ट्रॉफी खेल चुके 13 साल के वैभव टॉप ऑर्डर के बल्लेबाज हैं, जो अब‎ आईपीएल में दम दिखाने के लिए तैयार हैं। वैभव के पिता संजीव खुद अच्छे क्रिकेटर हैं। वह परिस्थितियों के चलते आगे नहीं बढ़ सके तो बेटे को क्रिकेटर बनाने की ठान ली और उसके कोच बन गए। संजीव ने इसके लिए कर्ज लिया, जमीन तक बेचनी पड़ी। उनकी ज्वेलरी की दुकान बंद हो गई। संजीव कहते हैं, ‘वैभव जब बच्चा था तो उसके साथ पूरे राज्य में घूमना पड़ता था। मैं उसके पीछे लगा रहता था। बहुत पैसा खर्च किया। उसने भी इस चीज को समझा और कड़ी मेहनत की।’ 5.45 करोड़ लोग खेलते हैं क्रिकेट, नेशनल टीमों में सिर्फ 22 को जगह मध्य प्रदेश के स्टेट लेवल के क्रिकेटर यश दुबे रणजी ट्रॉफी खेल चुके हैं, वह कहते हैं, रणजी के लेवल पर आने पर ही तीनों फॉर्मेट यानी वन डे, टी20 और टेस्ट मैच खेलने का मौका मिलता है। स्टेट लेवल पर ज्यादा टूर्नामेंट हों तो ज्यादा खिलाड़ियों को मौके मिलेंगे। नेशनल टीम के अलावा A-टीम, फ्रेंचाइजी लीग, रेलवे के लिए खेलने का मौका क्रिकेट खेलने वाले सभी देशों की नेशनल टीम के अलावा A-टीम भी होती है। नेशनल टीम में अपनी जगह बनाने के लिए पहले A-टीम में जगह बनानी पड़ती है। हालांकि यह जरूरी नहीं है कि सिर्फ A-टीम के खिलाड़ी को ही नेशनल टीम में खेलने का मौका मिलता है। सभी देशों की A-टीम भी नेशनल टीम की तरह एक दूसरे के साथ मुकाबला करती हैं, ताकि A-टीम के खिलाड़ियों को विदेशी पिच पर खेलने का अनुभव मिल सके। नेशनल टीम का हिस्सा बनने के अलावा प्लेयर कई देशों में आयोजित होने वाली लीग या फ्रैंचाइजीज का भी हिस्सा बन सकता है। जैसे भारत में IPL, इंग्लैंड की काउंटी क्रिकेट और ऑस्ट्रेलिया की BBL जैसे कुछ सबसे मशहूर लीग्स के लिए खेला जा सकता है। इसके अलावा रेलवे की क्रिकेट टीम को ज्वॉइन करने का भी मौका रहता है। हालांकि, इसमें रेलवे कर्मियों को प्राथमिकता मिलती है, लेकिन बाहरी खिलाड़ियों को भी ट्रायल का मौका दिया जाता है। ट्रायल में चुने जाने वाले खिलाड़ी बाद में रेलवे की ओर से रणजी ट्रॉफी खेल सकते हैं। रणजी में बेहतर परफॉर्म करने वालों को इंडियन टीम में सिलेक्ट होने के चांस रहते हैं। ‘प्रोफेशनल क्रिकेटर बनने के लिए अकादमी से जुड़ना बेहतर’: एक्सपर्ट क्रिकेट कोच संजय भारद्वाज कहते हैं कि क्रिकेट खेलने की शुरुआत के लिए क्रिकेट की बेसिक समझ, नियमों की जानकारी, खेल के वोकैबुलेरी समझनी होती है, लेकिन इस सबसे कहीं ज्यादा जरूरी है- सही गाइडेंस और ट्रेनिंग। वह कहते हैं, स्कूल लेवल से क्रिकेट खेलना शुरु कर देना चाहिए। अच्छी क्रिकेट अकादमी से जुड़ें, अनुभवी कोच की गाइडेंस के अलावा क्रिकेट क्लब से जुड़ें और प्राइवेट क्रिकेट टूर्नामेंट में शामिल हों। इसके बाद जिले, राज्य या नेशनल लेवल पर प्रोफेशनल क्रिकेट टीम का हिस्सा बन सकते हैं। स्पोर्ट्स से जुड़ी ये खबर भी पढ़िए… यूट्यूबर से बॉक्‍सर बने थे पॉल:डिज्‍नी की सीरीज से निकाले गए; 4 साल में 10 दिग्गज बॉक्सर्स को हराया “लोग मेरी लगातार हो रही तरक्की पसंद कर रहे हैं। मैं लंबे वक़्त तक इस खेल में रहूंगा। यह मेरी नियति है। यही मेरा प्यार है। मैं खेल को बदल दूंगा। मैं वर्ल्ड चैंपियन बनूंगा।” ये कहना है हाल ही में दिग्गज बॉक्सर माइक टायसन को हराने वाले जेक पॉल का। पूरा नाम जेक जोसेफ पॉल। सिर्फ 4 साल पहले यूट्यूबर से बॉक्सर बने 27 साल के पॉल ने दुनिया भर के दिग्गज पेशेवर बॉक्सर्स को पीछे छोड़ दिया है। जेक पॉल की पूरी कहानी पढ़िए…