आईटी, मीडिया और लॉजिस्टिक्स समेत अन्य सेक्टर के कर्मचारी घर से ही करना चाहते हैं काम; अब नहीं लौटना चाहते दफ्तर

लॉजिस्टिक्स, आईटी और मीडिया कर्मी अब ऑफिस नहीं जाना चाहते हैं। वे चाहते हैं कि घर से ही काम किया जाए। यह खुलासा लिंक्डइन द्वारा किए गए एक ऑनलाइन सर्वेक्षण में किया गया है। सर्वेक्षण से पता चलता है कि सॉफ्टवेयर और आईटी सेक्टर से जुड़े कर्मचारियों में से 50 प्रतिशत लोग घर से ही काम करना चाहते हैं। सर्वे के मुताबिक, ट्रेवल और एंटरटेनमेंट सेक्टर से 46 प्रतिशत और कंज्यूमर गुड्स इंडस्ट्री से जुड़े 39 प्रतिशत प्रोफेशनल्स ऑफिस जाने को तैयार हैं।

दफ्तर से दूर रहकर आसानी से कर्मचारी काम कर रहे हैं

रिपोर्ट में कहा गया है कि इसके पीछे कई कारण है। इनमें से एक कारण यह भी है कि अब कर्मचारी दफ्तर से दूर रहकर भी आसानी से अपना काम कर पा रहे हैं। सर्वेक्षण में यह सामने आया है कि ट्रांसपोर्ट, लॉजिस्टिक्स, मीडिया और टेलीकॉम सेक्टर के कर्मचारी ऑफिस में जाने में सहज महसूस नहीं कर रहे हैं। वह अधिक सावधानी की बात करते हैं।

5,553 दफ्तर के कर्मचारियों से राय ली गई है

लिंक्डइन ने मंगलवार को ‘लिंक्डइन वर्कफोर्स कांफिडेंस इंडेक्स’ के 8वें एडिशन की घोषणा की। सर्वेक्षण के तहत देश के 5,553 विभिन्न कार्य क्षेत्रों के कर्मचारियों से उनकी राय ली गई है। यह सर्वेक्षण एक जून से 26 जुलाई के बीच किया गया। इसमें देखा गया कि विभिन्न उद्योगों से जुड़े पेशेवरों ने किस प्रकार दफ्तर लौटने को लेकर अपनी प्रतिक्रिया दी है। सॉफ्टवेयर और आईटी उद्योग के 65 प्रतिशत कर्मचारियों ने यानी तीन में से दो कर्मचारियों ने काम के लिए ऑफिस लौटने को लेकर चिंता जताई है।

मीडिया में 61% कर्मचारी दफ्तर नहीं जाना चाहते

मीडिया और टेलीकॉम में 61 प्रतिशत तथा परिवहन एवं अन्य सुविधाएं उपलब्ध कराने वाले 61 प्रतिशत कर्मचारियों ने कोविड- 19 को लेकर सुरक्षा निर्देशों का पालन नहीं करने वालों के संपर्क में आने को लेकर अपनी आशंका जताई है। इसमें भी एक मुद्दा यह है कि लॉजिस्टिक्स क्षेत्र से जुड़े पेशेवरों में प्रत्येक तीन में से एक ने और सॉफ्टवेयर और आईटी क्षेत्र के प्रत्येक चार में से एक कर्मचारी ने ऑफिस पर साफ सफाई का मुद्दा भी उठाया है।सफाई और स्वच्छता की कमी के चलते वापस लौटना नहीं चाहते। उनका कहना है कि सफाई और स्वच्छता की कमी उन्हें ऑफिस पर लौटने से रोकती है।

बड़ी कंपनियों के कर्मचारी आशावादी हैं

सर्वेक्षण में यह बात भी सामने आई है कि लोग अब अपनी पर्सनल बचत पर ही भरोसा कर रहे हैं। प्रत्येक तीन में से एक प्रोफेशनल अपनी पर्सनल आय बढ़ने की उम्मीद करता है जबकि पांच में से दो लोग अपने पर्सनल एक्सपेंस को अगले छह माह तक मौजूदा स्तर पर ही बनाए रखना चाहते हैं। सर्वेक्षण के मुताबिक, जब भी बात जॉब की सुरक्षा की आती है तो छोटी कंपनियां जॉब बनाए रखने में कम विश्वास रखती हैं। उनका कांफिडेंस लेवल इस मामले में काफी कम है। जबकि बड़ी कंपनियों या जिनके पास 10 हजार से ज्यादा कर्मचारी हैं, वे थोड़ी आशावादी हैं। दरअसल, कम कैश का रिजर्व और कुछ शहरों में लॉकडाउन के ऑन ऑफ होने से बिजनेस को बनाए रखने में अभी भी चुनौतियां हैं।

Download Dainik Bhaskar App to read Latest Hindi News Today


इस सर्वे में देश के 5,553 दफ्तरों के कर्मचारियों से उनकी राय ली गई है