इस साल के पहले नोबेल पुरस्कार का ऐलान हो गया है। चिकित्सा का नोबेल संयुक्त रूप से तीन वैज्ञानिकों हार्वे जे आल्टर, माइकल ह्यूटन और चार्ल्स एम राइस को दिया जाएगा। आल्टर और राइस अमेरिकी हैं, जबकि ह्यूटन यूके से हैं। इन तीनों वैज्ञानिकों ने हैपेटाइटिस सी वायरस की खोज की थी। नोबेल पुरस्कारों की शुरुआत डायनामाइट की खोज करने वाले महान वैज्ञानिक अल्फ्रेड नोबेल ने की थी। उन्हीं की पुण्यतिथि 10 दिसंबर को ये पुरस्कार दिए जाते हैं।
चिकित्सा के नोबेल विजेता/विजेताओं का चयन स्वीडन की कैरोलिंस्का इंस्टीट्यूट की 5 सदस्यीय कमेटी करती है। पुरस्कार के तौर पर इसमें 10 लाख स्वीडिश क्रोनर (करीब 8.22 करोड़ रुपए) की राशि दी जाती है। एक से ज्यादा विजेता होने पर राशि बराबर-बराबर बांटी जाती है। इसके अलावा भौतिकी, रसायन, साहित्य, शांति और अर्थशास्त्र में भी नोबेल दिया जाता है। अर्थशास्त्र में नोबेल सबसे बाद में 1968 में शुरू किया गया।
क्या है हैपेटाइटिस?
हैपेटाइटिस दो ग्रीक शब्दों लिवर और जलन (इन्फ्लेमेशन) से मिलकर बना है। ये बीमारी वायरल इन्फेक्शन से होती है। ज्यादा शराब पीना, पर्यावरण में प्रदूषण का ज्यादा स्तर भी इसका कारण होते हैं। 1940 के दशक में हैपेटाइटिस के दो मुख्य प्रकारों का पता चला। हैपेटाइटिस ए प्रदूषित पानी या खाने से होता है। हैपेटाइटिस बी खून और शरीर के फ्लूड से ट्रांसमिट होता है। बीमारी का यह प्रकार काफी घातक होता है, जो आगे जाकर लिवर सिरोसिस और लिवर कैंसर बन जाता है। ये इसलिए भी ज्यादा खतरनाक है, क्योंकि कई बार संक्रमित होने के बावजूद हेल्दी लोगों में इसके लक्षण सामने नहीं आते।