किर्गिस्तान में फंसेमेडिकल स्टूडेंट्स के लिए इंडिया वापस आने की एक उम्मीद की किरण जगी है। सोनू सूद इन्हें वापस इंडिया लाने के लिए प्रयास कर रहे हैं। इसका खुलासा सद्दाम खान नाम के एक स्टूडेंट की ट्वीट के जरिए हुआ।
सद्दाम ने लिखा, हम सोनू सूद, कुणाल सारंगी (पूर्व विधायक बहरागोड़ा) और सामाजिक कार्यकर्त्ता रेखा मिश्रा के प्रयासोंकी सराहना करते हैं जो एशियन मेडिकल इंस्टिट्यूट(किर्गिस्तान) में मेडिकल की डिग्री ले रहेभारतीय स्टूडेंट्स की मदद के लिए आगे आए हैं।
किर्गिस्तान पर भी बाकी देशों की तरह कोरोना महामारी का असर हुआ है। हमें यहां से निकालने की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है और सोनू सूद ने इस बात का भरोसा दिलाया है कि इंडिया वापसी के लिए जिसफ्लाइट का इंतजाम किया गया है, उसमें हमसे एक रुपए भी किराया नहीं लिया जाएगा।
सोनू ने भी किया ट्वीट: सोनू ने अपने ट्विटर अकाउंट पर जानकारी देते हुए लिखा, किर्गिस्तान में फंसे स्टूडेंट्स के लिए अब घर वापसी का समय आ गया है। हम 22 जुलाई को बिश्केक-वाराणसी के बीच पहला चार्टर चलाने जा रहे हैं। डिटेल्स कुछ देर में स्टूडेंट्स के ईमेल आईडी और मोबाइल फोन पर पहुंच जाएगी। अन्य राज्यों के लिए चार्टर अगले हफ्ते उड़ान भरेंगे।
विदेश मंत्रालय से मांगी थी मदद: इससे पहले कुणाल सारंगी ने एक ट्वीट के जरिए 3000 स्टूडेंट्स (जिनमें 20 स्टूडेंट्स बिहार और झारखंड के हैं) के किर्गिस्तान में फंसे होने की बात से विदेश मंत्रालय और झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को अवगत करवाया था। उन्होंने 14 जुलाई को अपनी ट्वीट में किर्गिस्तान में फंसे स्टूडेंट्स का एक मार्मिक वीडियो शेयर किया था।
##
कुणाल ने इस बारे में कहा,सोनू सूद की मदद के बिना इन स्टूडेंट्स कोवापस इंडिया लाना संभव नहीं हो पाता।पहली फ्लाइट के जरिएझारखंड और बिहार के 20 स्टूडेंट्स को किर्गिस्तान से इंडिया लायाजाएगा। मेरी ट्वीट को सोनू सूद ने री-ट्वीट किया था।
इसके बाद उन्होंने मेरी ट्वीट में दिए गए एक स्टूडेंट के मोबाइल नंबर पर कॉल किया और 15 जुलाई को ट्विटर पर लिखा, प्लीज मुझे स्टूडेंट्स की डिटेल ईमेल कीजिए ताकि उन्हें वहां से निकालने का प्रबंध किया जा सके।