कमला हैरिस ने अमेरिका की प्रसिद्ध टॉक-शो होस्ट ओप्रा विन्फे को उनके प्रचार के लिए 8 करोड़ रुपए दिए थे। कमला हैरिस 19 सितंबर को ओप्रा के टॉक-शो ‘द ओप्रा विन्फ्रे’ शो में शामिल हुई थीं। इस शो को 400 लोगों ने अटेंड किया था। इसके अलावा 2 लाख से ज्यादा लोगों ने वर्चुअली इस शो को अटैंड किया था। चुनाव से पहले फिलाडेल्फिया में आयोजित एक रैली में भी ओप्रा नजर आई थी, जहां उन्होंने कमला को समर्थन दिया था। प्रचार के दौरान ओप्रा ने कहा था- हम वैल्यू और इंटेग्रिटी के लिए वोट कर रहे हैं, हम नफरत पर मरहम लगाने के लिए वोट कर रहे हैं। ओप्रा की कंपनी को शो के लिए 15 अक्टूबर को एक कार्यक्रम के बाद 8 करोड़ दिए गए। वाशिंगटन एग्जामिनर की एक रिपोर्ट के मुताबिक कमला ने राष्ट्रपति चुनाव में करोड़ों रुपए खर्च किए हैं। कमला की पार्टी ने अपनी चुनाव अभियान में 16 हजार करोड़ रुपए से ज्यादा का खर्च किया है। यह खर्च रिपब्लिकन पार्टी के खर्च से 3 हजार करोड़ ज्यादा है। रिपब्लिकन पार्टी ने 13 हजार करोड़ का खर्चा किया है। कमला ने कॉन्सर्ट के लिए 168 करोड़ खर्च किए चुनाव से एक दिन पहले कमला ने सात स्विंग स्टेट कॉन्सर्ट भी करवाए थे। न्यूयॉर्क पोस्ट की एक रिपोर्ट के मुताबिक इन कॉन्सर्ट्स में कमला की कैंपेन टीम ने 2 करोड़ डॉलर (168 करोड़ रुपए) से ज्यादा का खर्च किया था। यह खर्च और भी बढ़ सकता था, लेकिन कुछ सेलिब्रिटी कॉन्सर्ट में शामिल नहीं हो सके। कॉल हर डैडी नाम के एक टॉक-शो में भी कमला ने लाखों डॉलर खर्च किए थे। एलेक्स कूपर ने इस शो को होस्ट किया था, जिसे वॉशिंगटन के एक होटल में शूट किया गया था। कमला की चुनावी कैंपेन टीम ने होटल में एक सेट डिजाइन किया, जिसमें लाखों डॉलर खर्च किए गए। 7 स्विंग स्टेट्स में सबसे ज्यादा खर्च चुनावी खर्चे का सबसे बड़ा हिस्सा 7 राज्यों पर खर्च हुआ है। ये सात राज्य पेंसिल्वेनिया, मिशिगन, विस्कॉन्सिन, जॉर्जिया, नॉर्थ कैरोलिना, एरिजोना और नेवाडा हैं। दोनों ही पार्टियों ने इन राज्यों की टेलीविजन ऐड पर 1.8 बिलियन डॉलर से ज्यादा खर्च किया। अकेले पेंसिल्वेनिया में 494 मिलियन डॉलर खर्च किए गए। ये खर्चा जो बाइडेन की चुनावों से बाहर होने की घोषणा के बाद बढ़ा। मार्च से जुलाई में बाइडेन के बाहर होने की घोषणा तक विज्ञापन पर खर्चा 336 मिलियन डॉलर था। लेकिन घोषणा के एक महीने बाद यह खर्च 410 मिलियन डॉलर तक पहुंच गया, जो बाद में बिलियन के आंकड़े को पार कर गया। 2020 के बाद सबसे महंगा आम चुनाव 2024 राष्ट्रपति चुनावों में दोनों पार्टियों ने मिलकर 3.5 बिलियन डॉलर से ज्यादा का खर्च किया है। इससे इस बार चुनाव का कुल खर्च 16 बिलियन डॉलर के पास पहुंच गया। 2020 के बाद यह चुनाव इतिहास का सबसे महंगा आम चुनाव बन गया है। साल 2020 में चुनाव का कुल खर्च 18 बिलियन डॉलर था। दोनों पार्टियों ने पार्टी समितियों, बाहरी ग्रुप और चुनाव अभियान से 4.2 बिलियन डॉलर इकट्ठा किये थे। कमला हैरिस ने इसमें ट्रंप को पीछे छोड़ दिया और 2.3 बिलियन डॉलर इकट्ठा किए। जिसमें से 1.9 बिलियन डॉलर खर्च किए। वहीं ट्रंप की रिपब्लिकन पार्टी ने 1.8 बिलियन डॉलर इकट्ठा किए और 1.6 बिलियन डॉलर खर्च किए। इससे 2024 का अमेरिकी आम चुनाव इतिहास का सबसे महंगे चुनावों में से एक बन गया है। ……………………………………………… अमेरिका चुनाव से जुड़ी ये खबरें भी पढ़ें… जीत के बाद ट्रम्प की पुतिन से पहली बातचीत:यूक्रेन में जंग न बढ़ाने को कहा, यूरोप में अमेरिकी सेना की मौजूदगी भी याद दिलाई अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव जीतने के बाद डोनाल्ड ट्रम्प ने रूसी प्रेसिडेंट व्लादिमीर पुतिन से पहली बार बातचीत की। रॉयटर्स की रिपोर्ट के मुताबिक, दोनों नेताओं के बीच 7 नवंबर को फोन पर बात हुई थी, जिसकी जानकारी अब सामने आई है। मामले से परिचित लोगों ने बताया कि दोनों नेताओं ने यूक्रेन में शांति कायम करने को लेकर बातचीत की। ट्रम्प ने पुतिन को यूक्रेन जंग को और आगे न बढ़ाने की सलाह दी और उन्हें यूरोप में अमेरिकी सेना की मौजूदगी की भी याद दिलाई। रिपोर्ट के मुताबिक पुतिन ने ट्रम्प को चुनावी जीत पर बधाई दी और कहा कि रूस, अमेरिका से बातचीत के लिए तैयार है। इस दौरान दोनों नेताओं ने यूरोप में शांति कायम रखने पर भी चर्चा की। हालांकि, न तो अमेरिका और न ही रूस ने इसकी पुष्टि की है। ट्रम्प पहले भी यूक्रेन जंग को तुरंत खत्म करने को लेकर दावे करते रहे हैं। हालांकि, उन्होंने कभी यह नहीं बताया कि वे इसे कैसे खत्म करेंगे। रिपोर्ट के मुताबिक, ट्रम्प ने संकेत दिया है कि वे जंग रोकने के लिए रूस के जीते इलाके उसी के पास रहने देना चाहते हैं। पूरी खबर पढ़ें…